🔋 Battery Smart का FY25 में जबरदस्त ग्रोथ: 52% राजस्व वृद्धि, EBITDA पॉजिटिव

Battery Smart

भारत में इलेक्ट्रिक व्हीकल्स (EV) का ट्रेंड तेजी से बढ़ रहा है और इसके साथ ही बैटरी स्वैपिंग नेटवर्क Battery Smart ने भी अपने बिज़नेस ग्राफ को लगातार ऊपर उठाया है। गुरुग्राम स्थित इस स्टार्टअप ने वित्त वर्ष 2024-25 (FY25) में राजस्व में 52% की बढ़ोतरी दर्ज की है। कंपनी का ऑपरेटिंग रेवेन्यू FY25 में बढ़कर ₹249 करोड़ पहुंच गया, जो पिछले वर्ष (FY24) में ₹164 करोड़ था।


🚀 कैसे हासिल की यह ग्रोथ?

Battery Smart का बिज़नेस मॉडल “Battery-as-a-Service (BaaS)” पर आधारित है। इस मॉडल के तहत EV ड्राइवर्स आसानी से बैटरी बदल (swap) सकते हैं, जिससे उन्हें चार्जिंग के लिए लंबा इंतज़ार नहीं करना पड़ता।

  • कंपनी की शुरुआत 2019 में पुल्कित खुराना और सिद्धार्थ सिक्का ने की थी।
  • आज Battery Smart का नेटवर्क 50 से ज्यादा शहरों में फैला हुआ है।
  • कंपनी के पास 1,600 से अधिक स्वैपिंग स्टेशन हैं।
  • अब तक 90 लाख से ज्यादा बैटरी स्वैप्स पूरे हो चुके हैं।
  • करीब 90,000 ड्राइवर्स इस नेटवर्क का इस्तेमाल कर रहे हैं।

📈 फाइनेंशियल परफॉर्मेंस

  • FY25 में कंपनी की कुल आय ₹279 करोड़ रही, जो FY24 के ₹187 करोड़ की तुलना में 49% अधिक है।
    • इसमें ₹30 करोड़ की अन्य आय (other income) भी शामिल है।
  • खर्चों (expenses) में भी 53% की वृद्धि हुई और यह FY25 में ₹306 करोड़ तक पहुंच गया, जबकि FY24 में यह ₹200 करोड़ था।
  • अधिक खर्च का कारण:
    • नेटवर्क का विस्तार
    • कर्मचारियों की संख्या में वृद्धि
    • टेक्नोलॉजी इंफ्रास्ट्रक्चर पर निवेश

✅ EBITDA पॉजिटिव

कंपनी के मुताबिक, बढ़ते खर्च के बावजूद उसने हाल ही में ऑपरेटिंग ब्रेक-ईवन हासिल कर लिया है और अब EBITDA पॉजिटिव हो गई है।

  • FY25 में कंपनी ने ₹1 ऑपरेटिंग रेवेन्यू कमाने के लिए ₹1.22 खर्च किए
  • यह गैप धीरे-धीरे कम हो रहा है, जो बताता है कि कंपनी की कॉस्ट एफिशिएंसी में सुधार हो रहा है।

💰 निवेश और वैल्यूएशन

Battery Smart अब तक $192 मिलियन (लगभग ₹1,600 करोड़) जुटा चुकी है। इसके प्रमुख निवेशक हैं:

  • Tiger Global
  • Blume Ventures
  • Ecosystem Integrity Fund

इन निवेशकों का भरोसा बताता है कि कंपनी के पास लॉन्ग-टर्म ग्रोथ और मार्केट लीडर बनने की मजबूत संभावना है।


⚡ EV मार्केट में संभावनाएं

भारत में EV एडॉप्शन का सबसे बड़ा चैलेंज है – चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर। बैटरी स्वैपिंग इस समस्या का सबसे प्रभावी समाधान साबित हो रहा है।

  • खासकर इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर और थ्री-व्हीलर सेगमेंट में इसकी भारी डिमांड है।
  • ड्राइवर्स को लंबे समय तक बैटरी चार्ज होने का इंतज़ार नहीं करना पड़ता।
  • कुछ ही मिनटों में बैटरी बदलकर वे सफर जारी रख सकते हैं।

🏆 बैटरी स्मार्ट की पोज़िशन

  • EV बैटरी स्वैपिंग मार्केट में Battery Smart तेजी से लीडर बनता जा रहा है।
  • कंपनी के पास न सिर्फ विस्तृत नेटवर्क है, बल्कि अब वह लाभप्रदता (profitability) की दिशा में भी बढ़ रही है।
  • इसके मुकाबले अन्य स्टार्टअप्स अभी भी स्केलिंग और यूनिट इकॉनॉमिक्स को मैनेज करने की चुनौती से जूझ रहे हैं।

🔮 आगे की राह

हालांकि Battery Smart की ग्रोथ पोजिटिव है, लेकिन आने वाले सालों में कंपनी को कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा:

  1. खर्चों पर नियंत्रण – नेटवर्क विस्तार के साथ लागत बढ़ती है।
  2. यूनिट इकॉनॉमिक्स सुधारना – लंबे समय तक टिकाऊ ग्रोथ के लिए ज़रूरी।
  3. कंपटीशन से आगे रहना – EV सेक्टर में कई नए खिलाड़ी तेजी से आ रहे हैं।

अगर कंपनी इन चुनौतियों को मैनेज कर लेती है, तो यह भारत ही नहीं बल्कि अंतरराष्ट्रीय मार्केट में भी EV बैटरी स्वैपिंग का ग्लोबल लीडर बन सकती है।


📌 निष्कर्ष

FY25 Battery Smart के लिए बेहद अहम रहा। जहां एक तरफ कंपनी ने अपनी राजस्व ग्रोथ 52% तक पहुंचाई, वहीं दूसरी तरफ EBITDA पॉजिटिविटी हासिल करके यह साबित किया कि EV बैटरी स्वैपिंग मॉडल न सिर्फ स्केलेबल है बल्कि सस्टेनेबल भी है।

भारत में EV इंडस्ट्री के तेजी से बढ़ते कदमों के साथ, Battery Smart जैसे स्टार्टअप्स इस ट्रांजिशन को और मजबूत बना रहे हैं। आने वाले वर्षों में यह कंपनी EV इकोसिस्टम की रीढ़ की हड्डी (backbone) बन सकती है।


👉 आपका क्या मानना है? क्या बैटरी स्वैपिंग मॉडल भारत में EV सेक्टर का सबसे बड़ा गेम-चेंजर साबित होगा?

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🔋 Battery Smart की रफ्तार तेज़, राजस्व तीन गुना लेकिन घाटा भी दोगुना

Battery Smart

गुरुग्राम, अप्रैल 2025 — भारत में इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर और थ्री-व्हीलर सेगमेंट के लिए बैटरी-स्वैपिंग नेटवर्क संचालित करने वाली कंपनी battery smart ने वित्त वर्ष 2023-24 (FY24) में जबरदस्त ग्रोथ दर्ज की है। कंपनी का ऑपरेटिंग रेवेन्यू ₹164 करोड़ तक पहुंच गया, जो पिछले वर्ष ₹56 करोड़ था — यानी 193% की छलांग

हालांकि, तेज़ी से स्केल करने की रणनीति के चलते कंपनी का घाटा भी दोगुना होकर ₹140 करोड़ हो गया, जो पिछले साल ₹61 करोड़ था।


⚙️ बिज़नेस मॉडल: बैटरी-एज़-ए-सर्विस

Battery Smart का मुख्य व्यवसाय बैटरी-स्वैपिंग नेटवर्क ऑपरेट करना है, जो खासकर इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर और थ्री-व्हीलर वाहनों के लिए काम करता है। कंपनी “Battery-as-a-Service” मॉडल के तहत वाहन निर्माताओं को बैटरियों की अदला-बदली (swapping) की सुविधा देती है। यही इसका प्रमुख राजस्व स्रोत है।

FY24 में कंपनी ने ब्याज और अन्य वित्तीय स्रोतों से ₹23 करोड़ की अतिरिक्त आय अर्जित की, जिससे कुल आय ₹187 करोड़ तक पहुंच गई।


📈 Battery Smart आय में तीन गुना बढ़ोतरी

Battery Smart की वित्तीय रिपोर्ट के अनुसार:

  • ऑपरेटिंग रेवेन्यू (मुख्य व्यवसाय से आय): ₹164 करोड़ (193% वृद्धि)
  • कुल आय: ₹187 करोड़ (जिसमें ₹23 करोड़ ब्याज से)
  • FY23 में ऑपरेटिंग रेवेन्यू: ₹56 करोड़

इसका मतलब है कि कंपनी ने ग्राहकों और बाजार में तेज़ी से जगह बनाई है और इसकी सर्विसेज को व्यापक स्वीकृति मिल रही है।


💸 खर्चों में ज़बरदस्त उछाल

जहां आय में भारी इजाफा हुआ, वहीं खर्चों में भी बेतहाशा बढ़ोतरी देखी गई। कंपनी के कुल खर्च FY24 में ₹327 करोड़ हो गए, जो पिछले वर्ष ₹125 करोड़ थे — यानी 2.6 गुना वृद्धि।

विस्तृत खर्च विश्लेषण:

  • डिप्रिसिएशन (Depreciation): ₹85 करोड़ (3.8 गुना वृद्धि)
  • फाइनेंस कॉस्ट (ब्याज खर्च): ₹45 करोड़ (3.75 गुना वृद्धि)
  • कर्मचारी लाभ व्यय (Employee Benefits): ₹41 करोड़ (95.2% वृद्धि)
  • विज्ञापन खर्च: ₹8 करोड़ (60% की गिरावट)

यह स्पष्ट है कि कंपनी ने मानव संसाधन और इंफ्रास्ट्रक्चर पर भारी निवेश किया है, जबकि विज्ञापन में कटौती की गई है।


📉 घाटा भी हुआ दोगुना

हालांकि टॉप-लाइन (राजस्व) में अच्छी ग्रोथ देखने को मिली, लेकिन बॉटम-लाइन यानी नेट लॉस भी काफी बढ़ा। FY24 में कंपनी ने ₹140 करोड़ का घाटा दर्ज किया, जो कि FY23 के ₹61 करोड़ से 2.3 गुना अधिक है।

कुछ महत्वपूर्ण संकेतक:

  • EBITDA मार्जिन: -5.35%
  • ROCE (Return on Capital Employed): -18.34%
  • प्रति ₹1 कमाई पर खर्च: ₹1.99

इसका मतलब है कि Battery Smart को हर एक रुपए की ऑपरेटिंग आय पर लगभग दो रुपए खर्च करने पड़ रहे हैं।


💼 संपत्ति और नकदी स्थिति

मार्च 2024 तक, कंपनी की कुल चालू संपत्ति ₹328 करोड़ थी। इसमें से:

  • नकद और बैंक बैलेंस: ₹107 करोड़

कंपनी के पास फिलहाल पर्याप्त नकदी है, जिससे निकट भविष्य में संचालन और निवेश करने की गुंजाइश बनी हुई है।


🔍 क्या कहती है रिपोर्ट?

Battery Smart की यह रिपोर्ट दर्शाती है कि कंपनी तेजी से अपने नेटवर्क और इंफ्रास्ट्रक्चर को स्केल कर रही है। लेकिन यह भी स्पष्ट है कि इस विस्तार की कीमत उसे घाटे के रूप में चुकानी पड़ रही है।

जहां डिप्रिसिएशन और फाइनेंस कॉस्ट में भारी वृद्धि हुई, वहीं ऑपरेशनल खर्चों में नियंत्रण लाना अब कंपनी के लिए अगली चुनौती बन सकता है।


🔋 बैटरी स्वैपिंग बाजार में Battery Smart की स्थिति

भारत में EV (इलेक्ट्रिक वाहन) क्रांति के साथ-साथ बैटरी-स्वैपिंग मॉडल को भविष्य की एक महत्वपूर्ण कड़ी माना जा रहा है। Battery Smart इस सेगमेंट में अग्रणी खिलाड़ियों में से एक बनकर उभरी है।

इसके प्रमुख लाभ:

  • कम चार्जिंग समय
  • अधिक व्हीकल अपटाइम
  • लोअर फ्यूल कॉस्ट

ऐसे में कंपनी का मौजूदा घाटा दीर्घकालिक निवेश के रूप में भी देखा जा सकता है।


🔚 निष्कर्ष

Battery Smart ने FY24 में गति और विस्तार दोनों को प्राथमिकता दी, जिससे राजस्व में तेज़ ग्रोथ देखने को मिली। हालांकि इस ग्रोथ के साथ आया भारी खर्च और घाटा कंपनी के लिए अलार्मिंग संकेत हो सकता है अगर यह ट्रेंड अगले कुछ वर्षों तक जारी रहा।

लेकिन बाजार में इसकी मजबूत उपस्थिति, कैश रिज़र्व और बैटरी-एज़-ए-सर्विस की मांग को देखते हुए, Battery Smart भारत के EV इकोसिस्टम में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाने को तैयार दिख रही है

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