भारतीय फिनटेक यूनिकॉर्न Razorpay ने एक बड़ा रणनीतिक बदलाव करते हुए खुद को पब्लिक लिमिटेड कंपनी में परिवर्तित कर लिया है। यह कदम कंपनी को अपनी संभावित इनिशियल पब्लिक ऑफरिंग (IPO) के और करीब लाता है, जो वित्त वर्ष 2026-27 तक आने की संभावना है।
हालांकि कंपनी का तत्काल IPO लाने का कोई प्लान नहीं है, लेकिन यह बदलाव इस ओर इशारा करता है कि Razorpay सतत कॉर्पोरेट गवर्नेंस, पारदर्शिता और IPO के लिए प्रारंभिक तैयारी के रास्ते पर आगे बढ़ रही है।
🇮🇳 Razorpay अमेरिका से भारत लौटने की प्रक्रिया
Razorpay का यह ट्रांजिशन इसलिए भी खास है क्योंकि यह कंपनी पहले संयुक्त राज्य अमेरिका में डोमिसाइल थी। अब वह आधिकारिक तौर पर भारत में अपने मुख्यालय को स्थानांतरित कर रही है।
कंपनी ने बयान में कहा:
“भारत में रीडोमिसाइलिंग की प्रक्रिया के तहत, हम IPO से दो साल पहले ही खुद को पब्लिक कंपनी बना रहे हैं, ताकि कॉर्पोरेट गवर्नेंस के बेहतरीन मानकों का पालन किया जा सके और समय से पहले IPO की तैयारी की जा सके।”
🏛️ रजिस्ट्रार की मंजूरी: Razorpay Inc का विलय Razorpay India में
यह ट्रांजिशन ऐसे समय में हुआ है जब हैदराबाद स्थित क्षेत्रीय निदेशक (Regional Director) ने Razorpay Inc और Razorpay India के विलय को मंजूरी दे दी है। इस मंजूरी ने कंपनी को कानूनी रूप से भारत में पब्लिक लिमिटेड संस्था बनने का रास्ता साफ किया।
📊 कंपनी का प्रदर्शन और विस्तार
- FY24 का कुल रेवेन्यू: ₹2,068 करोड़
- कुल मुनाफा (Net Profit): ₹35 करोड़
- पिछली वैल्यूएशन: $7 बिलियन (लगभग ₹58,000 करोड़)
- अब तक की फंडिंग: $800 मिलियन से अधिक
- वर्तमान ऑपरेशंस: भारत, सिंगापुर, मलेशिया
Razorpay का बिजनेस मॉडल व्यापारियों को लोकल और इंटरनेशनल पेमेंट सॉल्यूशंस प्रदान करने पर केंद्रित है, जिसमें शामिल हैं:
- मल्टी-करेंसी ट्रांजैक्शन
- रीयल-टाइम पेमेंट गेटवे
- क्रॉस-बॉर्डर सॉल्यूशंस
- बिलिंग और सब्सक्रिप्शन मैनेजमेंट
🛍️ प्रतिस्पर्धी माहौल
Razorpay को भारत में कई अन्य फिनटेक कंपनियों से कड़ी प्रतिस्पर्धा मिल रही है:
कंपनी | FY24 रेवेन्यू |
---|---|
Razorpay | ₹2,068 करोड़ |
Cashfree | ₹642 करोड़ |
PayU | ₹3,800 करोड़ |
हालांकि PayU का रेवेन्यू ज्यादा है, Razorpay ने प्रॉफिटबिलिटी के मामले में भी अच्छा प्रदर्शन दिखाया है, जो स्टार्टअप के लिए एक बड़ा संकेत है।
📈 IPO की तैयारी और बाजार की संभावनाएँ
Paytm और MobiKwik जैसी फिनटेक कंपनियों के पब्लिक हो जाने के बाद, अब Razorpay भी इसी कतार में है। Pine Labs और PayU भी FY26 के अंत तक IPO लाने की तैयारी में हैं।
Razorpay का IPO 2026-27 में आने की संभावना है। यह न केवल निवेशकों के लिए एक बड़ा अवसर होगा, बल्कि भारत के फिनटेक स्टार्टअप इकोसिस्टम के परिपक्व होने का संकेत भी है।
🧭 क्यों खास है Razorpay का पब्लिक लिमिटेड में बदलाव?
1. कॉर्पोरेट गवर्नेंस में सुधार
IPO से पहले पब्लिक लिमिटेड बनना निवेशकों को यह भरोसा देता है कि कंपनी प्रोफेशनल, पारदर्शी और नियमों के अनुसार संचालित हो रही है।
2. भारत में वैधानिक स्थायित्व
रीडोमिसाइलिंग से Razorpay अब भारत में ही टैक्स, कॉर्पोरेट नियमों और नियामकीय प्रक्रियाओं का पालन करेगा, जिससे संचालन में सरलता और पारदर्शिता बढ़ेगी।
3. IPO की समय से तैयारी
यह कदम दिखाता है कि Razorpay रणनीतिक रूप से IPO की दिशा में पूर्व तैयारी कर रहा है, जिससे निवेशकों को भविष्य में स्पष्टता मिलेगी।
🌐 Razorpay की वैश्विक उपस्थिति
भारत के साथ-साथ Razorpay अब सिंगापुर और मलेशिया जैसे बाजारों में भी अपने उत्पादों और सेवाओं का विस्तार कर रहा है। यह इसके सास-आधारित वैश्विक पेमेंट सॉल्यूशंस को मजबूती देता है।
🗣️ क्या कहते हैं विशेषज्ञ?
फिनटेक विशेषज्ञों का मानना है कि:
“Razorpay का पब्लिक लिमिटेड कंपनी में बदलाव यह दर्शाता है कि भारतीय स्टार्टअप अब सिर्फ फंडिंग या ग्रोथ तक सीमित नहीं हैं, बल्कि पारदर्शिता और लॉन्ग टर्म वैल्यू क्रिएशन पर भी फोकस कर रहे हैं।”
📌 निष्कर्ष
Razorpay का पब्लिक लिमिटेड में ट्रांजिशन भारतीय फिनटेक इकोसिस्टम के लिए एक मील का पत्थर है। जहां कंपनी ने ₹2,000 करोड़ से अधिक का रेवेन्यू और ₹35 करोड़ का मुनाफा दर्ज किया है, वहीं अब यह IPO की दिशा में सशक्त कदम उठा चुकी है।
Razorpay सिर्फ एक पेमेंट गेटवे नहीं, बल्कि भारत के डिजिटल भुगतान क्रांति का एक मुख्य चेहरा बनता जा रहा है।
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