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TAC

D2C आयुर्वेदिक ब्रांड The Ayurveda Co (TAC) ने वित्त वर्ष 2024 (FY24) में 66% सालाना ग्रोथ दर्ज की, लेकिन खर्चों में भारी वृद्धि के कारण इसका घाटा तीन गुना बढ़कर ₹68 करोड़ हो गया

The Ayurveda Co Sixth Sense Ventures द्वारा समर्थित एक लोकप्रिय ब्रांड है, जो आयुर्वेदिक ब्यूटी, पर्सनल केयर, हेयर केयर, स्किनकेयर, मेकअप और वेलनेस प्रोडक्ट्स बनाता और बेचता है। हालांकि, बिक्री बढ़ने के बावजूद कंपनी की बिजनेस स्ट्रैटेजी और फाइनेंशियल हेल्थ पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं।


TAC FY24 में कंपनी का राजस्व ₹62 करोड़, लेकिन लागत दोगुनी हुई

कंपनी ने वित्त वर्ष 2024 में ₹62 करोड़ का कुल राजस्व अर्जित किया, जिसमें:

  • ₹59.6 करोड़ की आमदनी प्रोडक्ट्स की बिक्री से हुई, जो FY23 के ₹36 करोड़ की तुलना में 66% अधिक है।
  • ₹2.4 करोड़ का अतिरिक्त रेवेन्यू ब्याज और अन्य स्रोतों से आया।

हालांकि, तेजी से बढ़ते खर्चों ने मुनाफे पर दबाव डाल दिया, जिससे कंपनी के घाटे में बड़ा उछाल आया।


खर्चों में जबरदस्त बढ़ोतरी, कच्चे माल और विज्ञापन सबसे बड़े खर्च

FY24 में The Ayurveda Co (TAC)के कुल खर्चों में 97% की वृद्धि हुई, जिससे यह ₹109.5 करोड़ तक पहुंच गया

📌 मुख्य खर्च:
कच्चे माल (Raw Material) का खर्च: ₹12 करोड़ (FY23) → ₹28.6 करोड़ (FY24) (2.4 गुना वृद्धि)
विज्ञापन और मार्केटिंग खर्च: ₹15 करोड़ (FY23) → ₹26 करोड़ (FY24) (73.3% वृद्धि)
कर्मचारियों के वेतन और अन्य लाभ: ₹8.6 करोड़ (FY23) → ₹15.5 करोड़ (FY24) (80.2% वृद्धि)
भर्ती और कर्मचारी प्रबंधन का खर्च: ₹11.3 करोड़

कंपनी ने अपने ब्रांड को मजबूत करने के लिए भारी विज्ञापन और मार्केटिंग खर्च किए, लेकिन इनका असर कंपनी की लाभप्रदता पर पड़ा है।


तीन गुना बढ़ा घाटा, ₹1 कमाने पर ₹1.84 खर्च

इतने अधिक खर्चों के कारण FY24 में The Ayurveda Co को ₹68 करोड़ का घाटा हुआ, जो FY23 के ₹21 करोड़ के घाटे से 3.2 गुना अधिक है।

📊 महत्वपूर्ण फाइनेंशियल आंकड़े:
ROCE (Return on Capital Employed): -700%
EBITDA मार्जिन: -100.65%
प्रत्येक ₹1 कमाने के लिए कंपनी को ₹1.84 खर्च करना पड़ा।


क्या The Ayurveda Co सही बिजनेस मॉडल पर चल रही है?

बिजनेस मॉडल की मौजूदा स्थिति:

The Ayurveda Co D2C (Direct-to-Consumer) मॉडल पर आधारित है, जहां यह अपने प्रोडक्ट्स को ऑनलाइन स्टोर्स और ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर बेचती है। हालांकि, D2C मॉडल की अपनी चुनौतियां होती हैं, जिनमें सबसे बड़ी चुनौती उच्च मार्केटिंग खर्च और ब्रांड बिल्डिंग है।

📌 मुख्य समस्याएं:
D2C मार्केट में बढ़ती प्रतिस्पर्धा – Mamaearth, Plum, और Forest Essentials जैसी कंपनियों से सीधा मुकाबला।
ऑपरेशनल कॉस्ट का तेज़ी से बढ़ना – सप्लाई चेन, वेयरहाउसिंग और डिलीवरी में अधिक खर्च।
कस्टमर रिटेंशन की चुनौती – बार-बार नए ग्राहकों को लाना महंगा पड़ता है।


The Ayurveda Co को मुनाफे में कैसे लाया जा सकता है?

अगर The Ayurveda Co को मजबूत ब्रांड और फाइनेंशियल रूप से स्थिर कंपनी बनना है, तो इसे अपने बिजनेस मॉडल में सुधार करने होंगे

मार्केटिंग खर्च को स्मार्ट तरीके से नियंत्रित करना
✔ डिजिटल मार्केटिंग को ऑर्गेनिक ग्रोथ पर केंद्रित करना
✔ इंफ्लुएंसर मार्केटिंग पर अधिक ध्यान देना
✔ ब्रांड अवेयरनेस पर खर्च को सीमित रखना

उच्च मार्जिन वाले नए प्रोडक्ट्स लॉन्च करना
✔ स्किनकेयर और हेल्थ सेगमेंट में प्रीमियम प्रोडक्ट्स जोड़ना
✔ सब्सक्रिप्शन मॉडल अपनाना (जैसे मासिक हेल्थ बॉक्स)

ऑफलाइन स्टोर्स और रिटेल चैनलों में विस्तार करना
✔ D2C के साथ-साथ मल्टी-ब्रांड रिटेल स्टोर्स में एंट्री लेना
✔ बड़े शहरों में एक्सक्लूसिव स्टोर्स खोलना

सप्लाई चेन ऑप्टिमाइजेशन से लागत कम करना
✔ प्रोडक्शन कॉस्ट को नियंत्रित करने के लिए लोकल सप्लायर्स के साथ काम करना
✔ डिलीवरी पार्टनरशिप्स को मजबूत करना


क्या The Ayurveda Co का भविष्य सुरक्षित है?

The Ayurveda Co ने पिछले कुछ सालों में तेजी से ग्रोथ दर्ज की है, लेकिन उच्च लागत और लगातार बढ़ते घाटे के कारण कंपनी की लॉन्ग-टर्म स्थिरता पर सवाल खड़े हो गए हैं।

संभावनाएं:
🚀 अगर कंपनी अपनी मार्केटिंग और ऑपरेशनल स्ट्रैटेजी में बदलाव करती है, तो यह भविष्य में एक मजबूत और लाभदायक ब्रांड बन सकती है।
💡 लेकिन अगर कंपनी इसी तरह उच्च खर्चों के साथ बिना मुनाफे पर ध्यान दिए आगे बढ़ती रही, तो इसके लिए टिके रहना मुश्किल हो सकता है।

निष्कर्ष: ग्रोथ है, लेकिन सतर्क रणनीति अपनाने की जरूरत

📌 The Ayurveda Co के पास आगे बढ़ने की बड़ी संभावनाएं हैं, लेकिन इसे फाइनेंशियल प्लानिंग और रणनीतिक खर्च पर ध्यान देने की जरूरत है।
📌 अगर कंपनी सही कदम उठाती है, तो यह आने वाले वर्षों में D2C सेगमेंट में एक लीडिंग ब्रांड बन सकती है। 🚀

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